Paheliyan , पहेलियों की दुनिया में आपका स्वागत है, जहां रचनात्मकता और बुद्धि हमारे दिमाग को चुनौती देने और मनोरंजन करने के लिए एक साथ आते हैं। पहेलियां सदियों से मानव इतिहास का हिस्सा रही हैं, जो हमारे दिमाग का व्यायाम करने और हमारे समस्या को सुलझाने के कौशल का परीक्षण करने का एक मजेदार तरीका प्रदान करती हैं। प्राचीन सभ्यताओं से लेकर आधुनिक समय की पॉप संस्कृति तक, पहेलियों ने कई रूपों और विविधताओं को अपना लिया है, प्रत्येक अपने तरीके से अद्वितीय है। इस ब्लॉग में, हम पहेलियों की आकर्षक दुनिया का पता लगाएंगे, जिसमें क्लासिक ब्रेन टीज़र से लेकर नई और नई चुनौतियाँ शामिल हैं। खोज की इस यात्रा में हमसे जुड़ें और देखें कि क्या आपके पास रहस्य को सुलझाने के लिए क्या है। क्या आप अज्ञात की चुनौती लेने के लिए तैयार हैं? चलो शुरू करें!
Paheliyan :
301
एक लड़का माली से भरा, सबके सिर पर उल्टा-धरा ,
आए आँधी पानी आए , मोती लेकिन न गिर पाएं।
उत्तर – तारे
302
एक घर में कई छुछन्दर सबके मुंह काला,
एक छुछन्दर निकल भागे, जग भये उजाला।
उत्तर – माचिस
303
एक अजगर की अजब कहानी, काला लम्बी गाथा,
घर -घर उगले ठण्डा पानी , कोई समझ न पाता।
उत्तर – पाईप
304
तीन अक्षर का मेरा नाम, थके हुए को मैं दूँ आराम,
बिच कटे तो पग बन जाऊँ, सबके मन को मैं भाऊँ।
उत्तर – पलंग
305
घोड़ा हूँ मैं घोड़ा हूँ, काले वन में रहता हूँ ,
लाल पानी पीता हूँ, सब मुझसे है परेशान।
उत्तर – जुएँ
306
एक लाठी की आवाज कहानी, उसके अंदर मीठा पानी,
लाठी में है गांठे दस, जो भी चाहे पी ले रस।
उत्तर – गन्ना
307
पक्षी एक देखा अलबेला, पंख बिना उड़ रहा अकेला।
बांध गले में लम्भी डोर, नाप रहा है, अम्बर का छोर
उत्तर – पतंग
308
नीला जहर भरा है जिसमें, जीभ है जिसकी दो।
सांप नहीं पर लम्बा है, झट से उत्तर दो
उत्तर – फाउंटेनपेन
309
देश की मशान था वह, भारत माँ का लाल था वह,
अंग्रेज को थर्राने वाला, हंस कर फांसी पर चढ़ जाने वाला ,
बोलो वह लाल कौन था ?
उत्तर – सरदार भगत सिंह
310
अंग्रेजों के हाथ न आया, भारत का वह वीर कहलाया,
उसे मात्र आजादी प्यारी, अंतिम गोली स्वयं को मारी।
उत्तर – चंद्रशेखर आजाद